HP History of Masndi HImachal Pradesh
हिमाचल प्रदेश जिला-मण्डी
1. जिले के रूप में गठन-15 अप्रैल, 1948 ई.
2. जिला मुख्यालय-मण्डी
3. जनसंख्या घनत्व-253(2011 में)
4. साक्षरता-81.53% (2011 में)
5. कुल क्षेत्रफल-3950 वर्ग किलोमीटर (07.09%)
6. जनसंख्या-9,99,777 (14.56%) (2011 में)
7. लिंग अनुपात-1007 (2011 में)
8. दशकीय वृद्धि दर-10.92% (2011 में)
9. कुल गाँव-3338 (आबाद गाँव-2833)
10. ग्राम पंचायते-473
11. विकास खण्ड-10
12. विधानसभा क्षेत्र-10
13. शिशु लिंगानुपात-916 (2011 में)
14. ग्रामीण जनसंख्या-(2011 में)-9,36,894 (93.74%)
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भूगोल
मण्डी हिमाचल प्रदेश के सबसे मध्य भाग में स्थित जिला है। यह 31°13 50" से 32°04/30" उत्तरी अक्षांश तथा 76°3720 से 77°2315" पूर्वी देशांतर के बीच है। मण्डी जिले के पूर्व में कुल्लू, पश्चिम में बिलासपुर और हमीरपुर, उत्तर में काँगड़ा तथा दक्षिण में सोलन और शिमला जिले की सीमाएँ लगती हैं।
पर्वत शृंखलाएँ- धौलाधार शृंखला मण्डी जिले की पूर्वी सीमा पर स्थित है। नागरू (4400 मीटर) मण्डी को सबसे ऊंची चोटी धौलाधार पर्वत श्रृंखला में स्थित है।
घोघर धार- घोघर धार में गुम्मा और द्रंग की नमक खानें स्थित हैं। सिकंदर धार-इस धार का नाम सिकंदर लोदी के नाम पर पड़ा है जिसने काँगड़ा अभियान के दौरान इसे पार किया था। कमलाहधार और लिंडी धार इसकी दो उप-धाराएँ हैं। बेरकोट धार-यह धार रिवालसर से शुरू होकर सुकेत तक जाती है।
नदियाँ सतलुज-सतलुज नदी फिरनू गाँव से मण्डी में प्रवेश करती है। सतलुज नदी सोलन और शिमला से मण्डी जिले की सीमा बनाती है।
ब्यास नदी- व्यास नदी लारजी के पास मण्डी में प्रवेश करती है। इस स्थान पर सैंज और तिरथन नदी व्यास में मिलती है। व्यास नदी में उत्तर दिशा से उहल, लूनी और रीना नदी तथा दक्षिण दिशा में जन्जेहली, सुकेती, सोन, भखर और रमोली नदियाँ मिलती हैं। पण्डोह बाँध द्वारा व्यास नदी का पानी दो सुरंगों से सतलुज में मिलाया जाता है।
झीलें- रिवालसर, पराशर, कामरूनाग, कुमारवाह, कुन्तभयोग, कालासर, सुखसार। पण्डोह झील मण्डी की कृत्रिम झील है।
वन्य- जीव अभयारण्य-शिकारी देवी, नारगु और बादली।
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